> मिथिला विकास परिषद केर ई नीक पहल
कोलकाता. मिथिला मे घर-घर गीतगाइन आ तइयो गीतगाइनक अभाव. ई आश्चर्यचकित करैत अछि. गीत गायब मैथिलानी लेल कोनो पहाड़ तोड़ब नहि. ई ओ गुण अछि जे मिथिलाक सभ माय अपन बेटी मे भरैत अछि आ पुतहु मे तकैत अछि. मुदा एतेक रहितो एकैसम शताब्दिक दोसर दशक मे मिथिलाक घर-घर आ जन-जन मे जखन पछिमाहा संस्कृतिक प्रभाव पसरल अछि, गीतगाइन भेटब मोश्किल भेल जा रहल अछि. कोलकाता मे मिथिला महोत्सव अपन संस्कृति कें टटोलबाक नीक अवसर देलक अछि. मिथिला विकास परिषद मूल तकैत महोत्सवक दोसर दिन गीतगाइन प्रतियोगिता केर आयोजन कयलक आ ओकर अप्रतिम सफलताक बाद गीतगाइन कें सम्मानित कयलक.
'गीतगाइन प्रतियोगिता 2012' मे भाग लेनिहार प्रतिभाग़ी कें प्रोत्साहित करबाक लेल 26 अगस्त 2012 (रविदिन) सांझ 5 बजे रवीन्द्र सरणी एवं महात्मा गांधी संगम स्थल पर स्थित दिगम्बर जैन भवन मे विशेष सम्मान समारोहक आयोजन कयल गेल. सुश्री आरती झा एवं सुश्री प्रियंका झा द्वारा गाओल भगवतीक वन्दना, बासुकीनाथक स्तुति ओ उपस्थित पाहुन लोकनिक सम्मान मे स्वागत गीत सं एहि कार्यक्रमक शुभारंभ कयल गेल. तारकेश्वर मिश्रा (सम्पादक, प्रभात खबर) बाबा विद्यापतिक प्रतिमा पर माल्यार्पण करैत दीप प्रज्ज्वलित क' उदघाटन कयलनि. मंचस्थ अतिथिगण मे प्रख्यात साहित्यकार एवं शिक्षाविद डॉ वीरेन्द्र मल्लिक, प्रो शंकर झा, समाजसेवी युगल किशोर झा, प्रसिद्ध समालोचक प्रफ़ुल्ल कोलख्यान, मीरा झा, सृष्टिनारायण झा आदि उपस्थित छलाह.
एहि अवसर पर सुप्रसिद्ध मैथिलसेवी तेजनारायण झा द्वारा प्रकाशित एवं श्रीमती मीरा देवी द्वारा संकलित 'श्री भगवती आराधना' पुस्तकक विमोचन भेल.
कार्यक्रमक अन्त मे गीतगाइन प्रतियोगिताक समस्त प्रतिभागी सुर-साजक संग गीत प्रस्तुत कयलनि एवं तदुपपरान्त हुनका लॊकनि कें पुरस्कृत कयल गेल.
(Report/Photo: भास्कर झा)